नमस्कार स्वागत है आप सभी एक बार फिर से मेरे ब्लॉग में।
आज मैं लेकर आई हूँ 15 अगस्त यानी आजादी के दिन पर मेरी छोटी सी कविता और उस पर मेरा छोटा सा लेख। तो चलिए चलते हैं जाने के लिए। 15 अगस्त के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी।
15 अगस्त यानी भारत वासियों के लिए आजादी का दिन। जब पूरा भारत वर्ष अंग्रेजों की गुलामी से आजाद होकर स्वतंत्र हुआ था।
15 अगस्त हर वर्ष मनाया जाता है। इसी दिन भारतवासी ब्रिटिश शासन के गुलामी आजाद हुए थे ।
यह त्यौहार भारत का राष्ट्रीय त्यौहार है और पूरे भारतवर्ष में बड़े धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन भारत के प्रधानमंत्री लाल किले से देश को संबोधित करते हैं और झंडा फहराते हैं।
15 अगस्त को जब भारत देश आजाद हुआ था तो भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने दिल्ली में लाल किले के लाहौरी गेट के ऊपर राष्ट्रीय ध्वज को लहराया था ।महात्मा गांधी के नेतृत्व में भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में लोगों ने हिंसक प्रतिरोध और सविनय अवज्ञा आंदोलन में हिस्सा लिया।
स्वतंत्रता के बाद ब्रिटिश भारत को धार्मिक आधार पर विभाजित किया गया ।जिसमें भारत और पाकिस्तान का उदय हुआ। विभाजन के बाद दोनों देशों में हिंसक दंगे भी भड़के । सांप्रदायिक हिंसा की अनेक घटनाएं हुई।
विभाजन के कारण मनुष्य जाति के इतिहास में इतनी ज्यादा संख्या में लोगों का विस्थापन कभी नहीं हुआ ।यह संख्या तकरीबन 1. 45 करोड़ थी ।
भारत की जनगणना 1951 के अनुसार विभाजन के एकदम बाद 72 लाख 26 हजार मुसलमान भारत छोड़कर पाकिस्तान चले गए थे और 72,49000 हिंदू और सिख पाकिस्तान छोड़कर भारत आए थे ।
इस दिन को झंडा फहराने के समारोह, परेड और सांस्कृतिक आयोजन के साथ पूरे भारतवर्ष में मनाया जाता है ।
भारतीय इस दिन अपनी पोशाक सामान घरों और वाहनों को राष्ट्रीय ध्वज से भी सजाते हैं।
लोग पूरे परिवार के साथ दोस्तों के साथ देशभक्ति फिल्में भी देखते हैं और देश भक्ति के गीत भी गाते हैं ।
सभी भारतीय इस दिन सभी सैनिकों और वीर सपूतों को याद करते हैं जिन्होंने हमें आजाद कराने के लिए इस देश में कितने संघर्ष किए और अपने प्राणों का बलिदान दिया।
छोटी सी कविता जो मैंने लिखी है उन सभी वीर सपूतों के नाम जिन्होंने हमें आजाद कराने के लिए अपना सर्वस्व देश पर न्योछावर अमर कर दिया।
दिन था वह 15 अगस्त सन् 1947 का ,
जब जंजीरों की गुलामी से देश स्वतंत्र हुआ।
पाने को वह सांसे आजादी की ,
उन महापुरुषों में न जाने कितना संघर्ष किया ।
कराने को इस भारत देश को आजाद ,
प्राणों को इस भारत भूमि पर निछावर किया ।
बाल, पाल, गांधी और पटेल सरदार ,
नेहरू सुभाष हो या शेखर आजाद हो या फिर सिंह भगत,
मुक्त कराने इस भारत देश को न जाने कितना आंदोलन किया।
याद करें उन सभी सपूतों को हम दिन आज के,
जिन्होंने ब्रिटिशों से हमें मुक्त किया ।
अंग्रेजों की गुलामी की बेड़ियों को ,
जिन्होंने अपने गर्म रक्त से पिघलाया।
धन्य है यह भारत भूमि लेकर जहाँ जन्म,
इन महापुरुषों ने उस भूमि को पवित्र किया ।
75वें स्वतंत्रता दिवस की सबको बहुत-बहुत बधाई
जय हिन्द जय भारत
धन्यवाद मेरा ब्लाॅग पढ़ने के लिए
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